फेसबुक मामले पर अमेरिकी अखबार के नए खुलासे से अनखी दास की मुश्किलें बढ़ सकती हैं.

अमेरिकी अखबार द वाल स्ट्रीट जनरल ने फेसबुक को लेकर फिर नया खुलासा किया है. अखबार ने दावा किया है कि भारत में फेसबुक की अधिकारी अनखी दास ने कांग्रेस की हार को तीस साल की जमीनी मेहनत की जीत बताया था. साथ ही प्रधानमंत्री मोदी की जीत पर उनकी तारीफ भी की थी. अमेरिकी अखबार ने पिछले दिनों ही खुलासा किया था कि बीजेपी नेताओं की हेट स्पीच पर बैन लगाने के फेसबुक के प्रस्ताव को इंडिया पॉलिसी हेड अनखी दास ने नही माना औऱ उसका विरोध किया था.

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अनखी दास पर फेसबुक का नया खुलासा

अमेरिकी अखबार ने एक बाऱ फिर भारत मे फेसबुक की इंडिया पब्लिक पॉलिसी हेड अनखी दास को लेकर गंभीर सवाल उठाये हैं. द वाल स्ट्रीट जनरल ने दावा किया है कि अनखी दास ने चुनाव में कांग्रेस की हार पर लिखा कि आखिरकार, तीस साल के जमीनी मेहनत से भारत को स्टेट सोशलिज्म से मुक्ति मिल गई. वहीं, दूसरी तरफ जीत के लिए नरेन्द्र मोदी को स्ट्रांगमैन बताया था. यह पोस्ट अनखी दास ने 2012 से 2014 के बीच फेसबुक टीम को भेजी थी. जिस ग्रुप में यह मैसेज भेजा गया था उसमें सैकड़ों कर्मचारी थे.

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वॉल स्ट्रीट जरनल ने अपनी रिपोर्ट में लिखा है कि अनखी दास ने 2011 में फेसबुक को ज्वाइन किया था. यह वही दौर था जब फेसबुक राजनीति की दुनिया में अपनी पैठ बना रहा था. इस दौरान कई राजनीतिक पार्टियों को फेसबुक के इस्तेमाल के बारे में बताया गया. 2012 के गुजरात चुनाव और 2014 के लोकसभा चुनाव में भी फेसबुक के जरिए कैंपेन चलाया गया और बीजेपी को जीत मिली.

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इन चुनावों में भाजपा की जीत पर अनखी दास ने नरेन्द्र मोदी को ज़ॉर्ज डब्ल्यू बुश कहकर संबोधित किया था. अनखी दास ने यह भी कहा था कि बीजेपी के साथ काम करके फेसबुक को फायदा पहुंच रहा है. इसके अलावा 2014 के चुनाव परिणाम आने से पहले ही अनखी दास ने अपने एक सहयोगी से बीजेपी की जीत की बात कही थी.

फेसबुक पेज पर एक्शन नही

वॉल स्ट्रीट जनरल ने 2019 के लोकसभा चुनाव को लेकर भी अनखी पर सवाल उठाये हैं. अखबार ने कहा है कि फेक फेसबुक पेज के लिए बीजेपी को कुछ नही गया और ऐसा करने से अनखी दास ने रोका. इसके उलट कांग्रेस को फेसबुक पॉलिसी के हिसाब से ट्रीट किया गया. हालांकि फेसबुक की तरफ से बीजेपी को सहयोग या विरोध की बात से अखबार ने इंकार किया है.

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फेसबुक का क्या कहना है

इस पूरे मामले पर फेसबुक ने अनखी दास का बचाव करते हुए कहा कि उन्होंने अनुचित पक्षपात नही दिखाया. फेसबुक के प्रवक्ता एंडी स्टोन ने कहा कि, पोस्ट का गलत मतलब समझा गया है. कंपनी की तरफ से यह भी कहा गया है कि कंपनी मुस्लिम विरोधी कट्टरता के खिलाफ है.

बता दें कि इस पूरे मामले पर कांग्रेस ने बीजेपी की तीखी आलोचना की थी. कांग्रेस नेता राहुल गांधी यह तक आरोप लगा चुके हैं कि फेसबुक-्व्हाट्सऐप पर बीजेपी और आरएसएस का कब्जा है जिसका उपयोग वह नफरत फैलाने में करते हैं.